kya acupressure se diabetes ka ilaj ho sakta hai?
Kya acupressure se diabetes ka ilaj ho sakta hai? Acupressure diabetes ke management men kitna asardayak hota hai, aur kya iske koi vaganik praman hai? Ye sab janiye is lekh main.
लेख की विषय - सूची
kya acupressure se diabetes ka ilaj ho sakta hai?
एक्सूप्रेशर डायबिटीज के मैनेजमेंट का एक बहुत ही असरदायक तरीका है, और इसके कई वैज्ञानिक प्रमाण भी हैं(जिनके बारे में मैं आप को इस लेख में आगे बताऊंगा)। एक्यूप्रेशर के इस्तेमाल से आप अपने शरीर में ग्लूकोज़ की मात्रा को नियंत्रित कर सकते है और इन्सुलिन की मात्रा को भी बढ़ा सकते है। और सबसे अच्छी बात ये है की इसके लिए आप को कोई पैसा खर्च नहीं करना और न ही ज्यादा मेहनत करनी है। तो भईया जब इतनी अच्छी चीज मुफ्त में मिल रही है तो उसका इस्तेमाल क्यों न किया जाए। तो चलिए जानते है डायबिटीज में एक्यूप्रेशर के इस्तेमाल के बारे में और उससे जुड़े हुए कुछ शोध के बारे में भी ,जो डायबिटीज में एक्यूप्रेशर की गुड़वत्ता को प्रमाड़ित करती हैं।
Acupressure kya hota hai?
जैसे भारत में पिछले कुछ हजार सालों में योग का विकास हुआ है वैसे ही एक्यूप्रेशर का विकास चीन में ट्रेडिशनल थेरेपी के रूप में हुआ है, और इसका इतिहास 5000 साल पुराना है। चीनी लोग इसे हजारों सालों से इस्तेमाल करते आ रहे है पर अब योग की तरह ही एक्यूप्रेशर ने भी अमेरिका और यूरोप में अपनी पैठ बना ली है। इसीलिए अलग अलग बीमारियों में इसकी गुड़वत्ता साबित करने के लिए शोध भी होने लगे है।
एक्यूप्रेशर में उंगलियों द्वारा कुछ प्रेशर पॉइंट्स(meridians) पे दबाव डाला जाता है जिससे दिमाग में endorphins release होते है, जो कि मसल रेलक्शन करवाते है और दर्द में कमी लाने में मदद करते है।
शोध (Research)
डायबिटीज में एक्यूप्रेशर की सफलता को जांचने के लिए Iran के Rafsanjan university of medical science ने एक शोध किया। इस शोध में उन्होंने करीब 60 पेशेंट्स को शामिल किया। इन पेशेंट्स को फिर दो ग्रुप में बंटा गया-
- control group
- experimental group
Control ग्रुप को सामान्य चिकित्सा सेवा दी गयी, पर experimental ग्रुप को सामान्य चिकित्सा सेवा के साथ 20 min का एक एक्यूप्रेशर सेशन भी दिया गया। इस सेशन के लिए 4 प्रेशर पॉइंट्स का चुनाव किया गया जो कि चीनी ट्रेडिशनल मेडिसिन में डायबिटीज के इलाज के लिए इस्तेमाल किये जाते हैं।अब पेशेंट्स को पहले एक एक्यूप्रेशर एक्सपर्ट द्वारा ट्रेनिंग दी गयी और फिर उन्हें रोज़ 5 min हर प्रेशर पॉइंट पे एक्यूप्रेशर की प्रक्रिया दोहराने को कहा गया। साथ ही डॉक्टर पेशेंट के ब्लड शुगर और इन्सुलिन के स्तर की जांच भी लगातार करते रहे।
3 हफ्तों बाद वैज्ञानिकों ने पाया कि जिस ग्रुप के लोगों में एक्यूप्रेशर थेरेपी दी गयी(experimental group) उनमे Fasting Blood Shugar FBS का लेवल काफी कम आय और इन्सुलिन की मात्रा भी बढ़ी हुई थी। पर जिन लोगो को कोई एक्यूप्रेशर थेरेपी नही दी गयी(control group) उनमें ऐसा कोई प्रभाव देखने को नहीं मिला। आप की तसल्ली के लिए मैंने उस शोध का experimental data भी नीचे लिख दिया है। नीचे before और after intervention का मतलब है experimental group को एक्यूप्रेशर थेरेपी देने से पहले और देने के बाद।
Variable | Groups | Intervention group (n=30); Mean± SD | Control group (n=30); Mean± SD | |
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Serum FBS level | Before Intervention | 128.30±35.73 | 139.63±36.72 | |
After Intervention | 122.23±30.93 | 142.53±38.26 | ||
Serum insulin level | Before Intervention | 11.52±7.58 | 13.24±7.26 | |
After Intervention | 14.49±10.02 | 13.44±7.38 | ||
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आप साफ साफ देख सकते है कि expermental ग्रुप में एक्यूप्रेशर थैरेपी के बाद Fasting blood shugar 128 से कम होकर 122 पे आ गया और इन्सुलिन की मात्रा भी 11.52 से बढ़कर 14.49 के करीब आ गयी। पर control ग्रुप में इस कोई चेंज देखने को नही मिला।
तो भइया देखा न एक्यूप्रेशर का कमाल, रोज बस 20 min कुछ प्रेशर पॉइंट्स दबाने से कितना फायदा मिल सकता है। न तो आप को इसमें सुबह जल्दी उठने की झंझट पालनी होगी और न कोई ज्यादा मेहनत करनी होगी, बस अपने कमरे में आराम से बैठकर कुछ प्रेशर पॉइंट्स दबाने होंगे। अब आप बोलेंगे की चचा सारे फायदे तो बात दिए अब प्रेशर पॉइंट्स तो बताओ जिनको दबाके हम भी फायदा उठा सकें। तो भइया थोड़ा सब्र करो वोभी बताते है पर उससे पहले कुछ और शोध पे भी थोड़ी नज़र डाल लें।
एक और शोध हुआ इंडोनेशिया में जिसमें 30 लोगों को भर्ती किया गया। इनको भी 2 ग्रुप में बंटा गया 15-15 के, और एक ग्रुप को सामान्य चिकित्सा सेवा के अलावा 30 min का एक एक्यूप्रेशर सेशन भी दिया गया। पर इसमें खाली एक ही प्रेशर पॉइंट पे ये एक्यूप्रेशर थेरेपी दी गयी। जो प्रेशर पॉइंट इसमें इस्तेमाल किया गया वो है zusali(ST 36) जिसकी तस्वीर मैंने नीचे दी है।
ये शोध 11 हफ्तों तक चला और इस शोध का जो experimental data है वो आप नीचे देख सकतें हैं।
-changes in randomly determined blood glucose levels in experimental and control groups (mg/dL)
Experimental group | Control group | |
Mean | Mean | |
Week 1(pre) | 351.53 | 261.67 |
Week 2 | 283.73 | 256.27 |
Week 3 | 238.40 | 266.40 |
Week 4 | 229.53 | 310.47 |
Week 5 | 181.93 | 321.73 |
Week 6 | 168.67 | 267.40 |
Week 7 | 145.60 | 272.40 |
Week 8 | 133.13 | 278.00 |
Week 9 | 121.40 | 253.53 |
Week 10 | 113.87 | 287.40 |
Week 11 (post) | 111.07 | 225.87 |
डेटा में आप देख सकतें हैं कि experimental ग्रुप का average ब्लड ग्लूकोज़ लेवल 351 से घट कर 240 तक चला गया पर control ग्रुप में इस कुछ देखने को नही मिला। तो भाईसाहब मान गए न एक्यूप्रेशर का लोहा। चलिए अब जान लेते हैं कुछ प्रेशर पॉइंट्स के बारे में जिनके इस्तेमाल से आप भी इसका फायदा उठा सकतें हैं।
Acupressure ke points
4 एक्यूप्रेशर पॉइंट्स ( इन्हें मेरेडियन भी कहा जाता है) जो ट्रेडिशनल चीनी मेडिसिन में डायबिटीज के लिए इस्तेमाल किये जाते है, और जो मैंने आप को ऊपर शोध के बारे में बताया उनमे भी इस्तेमाल किये गए है , वो हैं-
ST -36 (stomach मेरिडियन ), LIV-3 (लीवर मेरिडियन ), KD -3 (गुर्दे मेरिडियन ), और SP -6 (स्प्लीन मेरिडियन ) ।
1- Zusanli(ST 36) पटेला के 3 cm नीचे और करीब एक उंगली की दूरी पे tibial plateau की तरफ स्थित होता है। जानता हूँ समझ नही आया होगा , इसीलिए फ़ोटो भी दाल रहा हूँ नीचे देख लीजिए।
2-SP-6 (स्प्लीन मेरेडियन ) tibial internal angle से 5 cm ऊपर स्थित होता है।
3-LIV 3 (लिवर मेरेडियन) – इसकी भी फ़ोटो ही देख लीजिए , इसकी पोजीशन लिखने में मेरी जान निकल जायेगी और पढ़ने में आप की हवा।
4-KD 3 – मध्ययुगीन टखने और Achilles के कण्डरा(tendon) के बीच स्थित है।
Source of images: Effect of self-acupressure on fasting blood sugar (FBS) and insulin level in type 2 diabetes patients: a randomized clinical trial
Acupressure kese karen?
1- सबसे पहले प्रेशर पॉइंट(मेरिडियन) की पहचान करें। प्रेशर पॉइंट की सही पहचान बहुत जरूरी है, गलत जगह प्रेशर डालने से कोई फायदा नही होता।
2- फिर अपनी उंगलियों की सहायता से प्रेशर पॉइंट पे हल्का दबाव डालें।आप बीच वाली उंगली या अंगूठे के इस्तेमाल कर सकते हैं।
3- अब दबाव को हल्का हल्का बढ़ाये जब तक कि वो दबाव दर्द की तरह महसूस होने लगे।
4- जैसे ही दर्द महसूस होने लगे दबाव को कम कर दीजिये।
5- ऐसा हर प्रेशर पॉइंट पर करीब 5 min के लिए कीजिये।
अब मैंने ऊपर आप को एक्यूप्रेशर करने का तरीका तो बता दिया पर यकीन मानिए आपको प्रेशर पॉइंट ढूंढने में दिक्कत होगी। और बिना सही जगह दबाव डाले कोई फायदा होगा नहीं। तो मेरी सलाह मानिये और किसी professtional एक्यूप्रेशरिस्ट से बात कीजिये और उससे प्रेशर पॉइंट पहचानना सीख लीजिये।
Resources
- Effect of self-acupressure on fasting blood sugar (FBS) and insulin level in type 2 diabetes patients: a randomized clinical trial
- Effectiveness of Acupressure at the Zusanli (ST-36) Acupoint as a Comfortable Treatment for Diabetes Mellitus: A Pilot Study in Indonesia
- Combined Therapy Using Acupressure Therapy, Hypnotherapy, and Transcendental Meditation versus Placebo in Type 2 Diabetes